पूर्णिया: पूर्णिया एयरपोर्ट का बहुप्रतीक्षित निर्माण कार्य अब अपने निर्णायक चरण में पहुंच चुका है। जिला प्रशासन की सतत निगरानी और मजबूत नेतृत्व में यह परियोजना दिन-रात प्रगति कर रही है। 'स्टेट ऑफ द आर्ट' तकनीक से सुसज्जित इस हवाई अड्डे को सीमांचल क्षेत्र की उम्मीदों और विकास के प्रतीक के रूप में देखा जा रहा है।

 

जिला पदाधिकारी श्री कुन्दन कुमार (भा.प्र.से.) के नेतृत्व में सभी विभागीय एजेंसियों को स्पष्ट साप्ताहिक लक्ष्य सौंपे गए हैं। स्वयं डीएम निर्माण स्थल पर जाकर नियमित भौतिक निरीक्षण कर रहे हैं ताकि कार्य की गुणवत्ता और गति सुनिश्चित हो सके। उनके नेतृत्व में एयरपोर्ट से जुड़े सभी प्रमुख ढांचागत घटकों – जैसे सिविल एनक्लेव को जोड़ने वाली मुख्य सड़क, पावर सब स्टेशन, जल निकासी के कल्वर्ट, अप्रोच पथ, और अंतरिम टर्मिनल बिल्डिंग – पर कार्य तीव्रता से चल रहा है।

हाल ही में किए गए निरीक्षण के दौरान यह जानकारी सामने आई कि टर्मिनल स्ट्रक्चर के लिए निर्धारित 70 में से 69 पिलरों की खुदाई पूरी हो चुकी है। इनमें से 50 खुदाई स्थलों पर एंटी टर्माइट ट्रीटमेंट, पीसीसी (प्लेन सीमेंट कंक्रीट), बार बॉन्डिंग, और शटरिंग का कार्य 70% से अधिक पूरा कर लिया गया है। 221 मीटर लंबे टाई बीम में से 40 मीटर तक बार बॉन्डिंग भी संपन्न हो चुकी है।

 

टर्मिनल स्ट्रक्चर के लिए आवश्यक बॉक्स कॉलम और H कॉलम का निर्माण कानपुर की फैक्ट्री में किया जा रहा है, जिनमें से 24 बॉक्स कॉलम और सभी 12 H कॉलम पूर्णिया भेजे जा चुके हैं। टर्मिनल बिल्डिंग में एयरलाइन कार्यालय, सुरक्षा जांच क्षेत्र, सेल्फ चेक-इन एरिया, बैगेज क्लेम, प्रतीक्षा कक्ष, और रिटेल दुकानों जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं होंगी। भविष्य में इस एयरपोर्ट को पूरी तरह विकसित करते हुए एप्रोन, कार्गो कॉम्प्लेक्स, वॉटर व फायर टैंक, एविएशन फ्यूल फॉर्म, कमर्शियल प्लाजा, एसी चिलर प्लांट, एसटीपी, सर्फेस पार्किंग और एयरोब्रिज जैसी हाईटेक सुविधाएं जोड़ी जाएंगी।

 

हवाई अड्डे तक यात्रियों की सुविधाजनक पहुंच के लिए चार संपर्क मार्गों की पहचान की गई है। डीएम ने ग्रामीण कार्य विभाग को इन मार्गों के निर्माण हेतु निविदा जल्द प्रकाशित करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि मानसून से पहले अधिकतम कार्य पूर्ण कर लिए जाएं ताकि तय समयसीमा में उड़ान सेवाएं शुरू की जा सकें।

 

निर्माण कार्य में किसी भी अड़चन के त्वरित समाधान हेतु अभियंताओं को निर्देशित किया गया है कि वे किसी भी तकनीकी समस्या को तुरंत वरिष्ठ अधिकारियों के संज्ञान में लाएं। निरीक्षण के समय सदर अनुमंडल पदाधिकारी, डीआरडीए निदेशक, अपर समाहर्ता, भवन निर्माण विभाग, ग्रामीण कार्य विभाग, एवं पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता सहित सभी संबंधित पदाधिकारी उपस्थित रहे।

 

पूर्णिया एयरपोर्ट केवल एक ढांचागत सुविधा नहीं, बल्कि सीमांचल के लाखों लोगों की वर्षों पुरानी आकांक्षाओं का साकार रूप है। इसके प्रारंभ होते ही इस क्षेत्र को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय कनेक्टिविटी के साथ व्यापार और पर्यटन की नई दिशा मिलने की उम्मीद है।

 

संपर्क मार्ग (निर्माणाधीन और योजना के अंतर्गत):

गोआसी से डॉलर हाउस चौक तक फोरलेन सड़क

यह 4.5 किलोमीटर लंबी और 14 मीटर चौड़ी सड़क गोआसी से डॉलर हाउस चौक तक बनेगी। इस परियोजना पर लगभग ₹150 करोड़ का खर्च अनुमानित है। सड़क पर लाइटिंग और लैंडस्केपिंग का भी प्रावधान है, जिससे हवाई अड्डे तक पहुंचना अधिक सुगम होगा।

 

930 मीटर लंबा संपर्क पथ

हवाई अड्डे के लिए 930 मीटर लंबा और 14 मीटर चौड़ा संपर्क पथ बनाया जा रहा है, जिस पर लगभग ₹14 करोड़ की लागत आएगी। इस सड़क का निर्माण कार्य मई तक पूरा करने का लक्ष्य है, जिससे हवाई अड्डे तक सीधी पहुंच सुनिश्चित हो सकेगी।

 

पूर्णिया-पटना एक्सप्रेसवे से कनेक्टिविटी

पूर्णिया-पटना एक्सप्रेसवे को हवाई अड्डे से जोड़ा जा रहा है। इसके तहत नेशनल हाईवे 107 के साथ बायपास से एक्सप्रेसवे को कनेक्ट किया जाएगा, ताकि सहरसा, मधेपुरा, बीकोठी, धमदाहा जैसे क्षेत्रों से आने वाले यात्रियों के लिए हवाई अड्डे तक पहुंचना आसान हो।

 

धमदाहा-पटना राज्य राजमार्ग (SH-65) का चौड़ीकरण

धमदाहा-पटना राज्य राजमार्ग (SH-65) को चार लेन में परिवर्तित किया जा रहा है, जो सीधे पूर्णिया हवाई अड्डे से जुड़ेगा। इस परियोजना से क्षेत्रीय कनेक्टिविटी में सुधार होगा और यात्रियों को बेहतर सड़क मार्ग उपलब्ध होगा।